बिट्टू सिंह राजपूत,सूरजपुर। मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय के मार्गदर्शन में छत्तीसगढ़ शासन द्वारा पंजीयन प्रणाली में ऐतिहासिक बदलाव करते हुए 10 क्रांतिकारी नवाचारों की शुरुआत की गई है। इसी कड़ी में आज सूरजपुर कलेक्टोरेट सभाकक्ष में एक कार्यशाला का आयोजन किया गया, जिसमें इन नवाचारों की विस्तार से जानकारी दी गई।
इस कार्यशाला में अंबिकापुर के जिला रजिस्ट्रार श्री विवेक कुमार सिंह द्वारा इन नवाचारों के तकनीकी पहलुओं को समझाया गया। कार्यक्रम में सूरजपुर के अपर कलेक्टर, डिप्टी कलेक्टर, सभी एसडीएम, तहसीलदार, नायब तहसीलदार एवं राजस्व विभाग के अन्य अधिकारीगण मौजूद रहे।
राज्य शासन की इस पहल का उद्देश्य रजिस्ट्री और नामांतरण की प्रक्रिया को पूरी तरह डिजिटल, पारदर्शी और सरल बनाना है, जिससे न केवल भ्रष्टाचार पर अंकुश लगेगा, बल्कि आम नागरिकों को समय और धन की भी बचत होगी।
रजिस्ट्री से नामांतरण तक अब सब कुछ डिजिटल
नवाचारों की जानकारी देते हुए बताया गया कि अब पंजीयन के पश्चात नामांतरण की प्रक्रिया स्वतः पूरी हो जाएगी। इससे नागरिकों को बार-बार तहसील कार्यालय नहीं जाना पड़ेगा और राजस्व न्यायालयों में लंबित मामलों की संख्या में कमी आएगी।
पेपरलेस और कैशलेस प्रणाली
नई व्यवस्था के तहत रजिस्ट्री प्रक्रिया को पूरी तरह पेपरलेस और कैशलेस बनाया जा रहा है। दस्तावेज डिजीलॉकर में संरक्षित रहेंगे और पंजीयन से संबंधित सभी सेवाएं ऑनलाइन व व्हाट्सएप के माध्यम से उपलब्ध कराई जाएंगी। पारिवारिक मामलों जैसे दान, हक त्याग और बंटवारे के पंजीयन शुल्क को केवल ₹500 निर्धारित किया गया है।
कलेक्टर का आह्वान
कार्यशाला में कलेक्टर श्री एस. जयवर्धन ने उपस्थित अधिकारियों से आग्रह किया कि वे आपसी समन्वय से इन नवाचारों को प्रभावी रूप से लागू करें, ताकि अधिक से अधिक लोगों को इनका लाभ मिल सके। उन्होंने यह भी कहा कि इस तकनीकी बदलाव से फर्जीवाड़े और भ्रष्टाचार पर प्रभावी रोक लगेगी।
ये हैं पंजीयन प्रणाली के 10 क्रांतिकारी नवाचार
- आधार आधारित प्रमाणीकरण – क्रेता, विक्रेता व गवाहों की पहचान अब आधार से होगी।
- ऑनलाइन सर्च व डाउनलोड सुविधा – संपत्ति की जानकारी खसरा नंबर से तुरंत मिलेगी।
- ऑनलाइन भारमुक्त प्रमाण पत्र – ऋण आदि की जानकारी एक क्लिक में उपलब्ध।
- एकीकृत कैशलेस भुगतान – स्टाम्प व शुल्क का एक साथ डिजिटल भुगतान।
- व्हाट्सएप सेवाएं – रजिस्ट्री से जुड़ी सूचनाएं व्हाट्सएप पर मिलेंगी।
- डिजीलॉकर सुविधा – दस्तावेज सुरक्षित रूप से ऑनलाइन संरक्षित।
- ऑटो डीड जनरेशन – दस्तावेज स्वतः तैयार होकर प्रस्तुत होंगे।
- डिजी डॉक्युमेंट सेवा – शपथ पत्र जैसे दस्तावेज भी ऑनलाइन तैयार।
- घर बैठे रजिस्ट्री की सुविधा – आधार प्रमाणीकरण से अपॉइंटमेंट लेकर घर से रजिस्ट्री।
- स्वतः नामांतरण सुविधा – पंजीयन के बाद नामांतरण स्वतः शुरू होगा, अलग आवेदन की आवश्यकता नहीं।
इस कार्यशाला ने स्पष्ट कर दिया कि छत्तीसगढ़ सरकार की यह पहल राजस्व व्यवस्था को अधिक पारदर्शी, सुगम और भ्रष्टाचारमुक्त बनाने की दिशा में एक बड़ा कदम है।