बिट्टू सिहं राजपूत ,सरगुजा। सरगुजा जिले के अंबिकापुर स्थित तकिया ग्राम पंचायत में मंदिर और दरगाह शरीफ (तकिया मजार) के संचालन को लेकर विवाद गहराता जा रहा था। अब ग्राम पंचायत ने अंजुमन कमेटी के कब्जे से तकिया मजार को मुक्त कराते हुए अपने अधिकार में ले लिया है। इस घटनाक्रम के दौरान माहौल तनावपूर्ण हो गया, जिसे देखते हुए पुलिस बल की तैनाती करनी पड़ी।
ग्राम पंचायत का आरोप
ग्राम पंचायत के अनुसार, तकिया मजार और काली मंदिर की देखरेख का खर्च पंचायत फंड से किया जाता था, लेकिन अंजुमन कमेटी ने मजार पर एकतरफा स्वामित्व स्थापित कर लिया था। पंचायत का आरोप है कि मजार में चढ़ावे और चंदे की राशि अंजुमन कमेटी के पास ही रहती थी और इसकी ऑडिट रिपोर्ट प्रशासन को नहीं सौंपी जाती थी। इस वित्तीय अपारदर्शिता को लेकर ग्राम पंचायत और कमेटी के बीच लंबे समय से विवाद चल रहा था।
ग्राम सभा में बड़ा फैसला
मंगलवार को ग्राम पंचायत द्वारा ग्राम सभा बुलाई गई, जिसमें तकिया मजार को अंजुमन कमेटी के नियंत्रण से मुक्त कराने का प्रस्ताव रखा गया। ग्राम सभा में सर्वसम्मति से प्रस्ताव पारित किया गया, जिसके बाद ग्राम पंचायत ने दरगाह को अपने अधिकार में ले लिया। इस दौरान दोनों पक्षों के समर्थक आमने-सामने आ गए और माहौल गर्मा गया। स्थिति को काबू में रखने के लिए कोतवाली पुलिस को मौके पर तैनात किया गया।
इस पूरे मामले को लेकर अंजुमन कमेटी की ओर से अब तक कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है। वहीं, ग्राम पंचायत के इस कदम के बाद आगे की कानूनी प्रक्रिया पर भी नजर रहेगी।